एयर कंडीशनर का इस्तेमाल गर्मी से लेकर पूरे बरसात के मौसम में किया जाता है। बरसात के मौसम में AC की हवा और भी आरामदायक हो जाती है। इसका एक अहम कारण यह है कि मानसून के दौरान हवा में नमी की मात्रा बहुत बढ़ जाती है, जिसकी वजह से कूलर और पंखे से चिपचिपाहट महसूस होती है। लेकिन अगर AC की हवा की बात करें तो यह नमी को सोखने का काम करती है और सूखी हवा फेंकती है, जिसकी वजह से ठंडक का अहसास बहुत अच्छा होता है।
लेकिन बरसात के दिनों में हम अक्सर देखते हैं कि AC यूनिट से पानी छलक रहा है। हममें से बहुत से लोग इस बात पर ध्यान नहीं देते हैं, लेकिन आपको उन कारणों को जानना चाहिए जिनकी वजह से ऐसा होता है।
ड्रेन पाइप – इवेपोरेटर कॉइल के नीचे एक ड्रेन पैन होता है जो आपके घर से बाहर निकालने से पहले अपशिष्ट जल को इकट्ठा करता है। लेकिन अगर यह पैन टूटा हुआ या जंग लगा हुआ है, तो पानी ड्रेन लाइन से नीचे जाने की बजाय आपके घर के अंदर लीक हो सकता है। इसलिए इसकी समय पर सर्विसिंग जरूरी है।
अगर आपकी आउटडोर यूनिट छत पर लगी है या कनेक्टिंग पाइप यू ट्रैप नहीं लगी है, तो बारिश का पानी एसी को यूनिट से जोड़ने वाले छेद से कमरे में प्रवेश कर सकता है।
ड्रेन पाइप ब्लॉकेज– एसी जो नमी सोखता है, उसे पानी के रूप में ड्रेन पाइप के ज़रिए बाहर फेंक दिया जाता है। गर्मी के मौसम में एसी के ड्रेन पाइप से कम पानी निकलता है, क्योंकि गर्मी के मौसम में हवा में सूखापन होता है, जिससे नमी इतनी जमा नहीं हो पाती। वहीं, बारिश के मौसम में एसी के ड्रेन पाइप से ज़्यादा पानी गिरता है, क्योंकि हवा में नमी बहुत ज़्यादा होती है। इसलिए आपको यह देखना होगा कि ड्रेन पाइप में किसी तरह का कोई कचरा तो नहीं फंसा है जो पानी को बाहर निकलने से रोक रहा हो।
एयर फ़िल्टर– आपको जानकर हैरानी होगी कि एयर कंडीशनर की लगभग हर समस्या गंदे एयर फ़िल्टर से शुरू होती है। समय के साथ आपके एसी फ़िल्टर पर धूल और मलबा जमा हो जाता है, जिससे हवा का संचार कम हो सकता है। इसकी वजह से इवेपोरेटर कॉइल बहुत ठंडा हो जाता है और फिर जब यह पिघलता है, तो पानी लीक होने लगता है।
नुकसान हो सकता है
एयर वेंट से टपकने वाला पानी दीवारों, फर्श और फर्नीचर को नुकसान पहुंचा सकता है और अगर समय पर ध्यान न दिया जाए तो इससे जमीन पर फिसलन भी हो सकती है।